पीएम की नीयत पर संदेह तो नहीं होता है क्योंकि वे नहीं चाहते हैं कि इन्हें छोड़कर अगली वारदात का जोखिम लिया जाए। पर मेरा पागल मन पूछ रहा है कि यह पकड़ना कैसा है कि पकड़े जाने पर भी वे छुट्टे घूम रहे हैं और बम फोड़ रहे हैं, मतलब उनके दम ने अपनी घुटन को घुटने नहीं टेकने दिए हैं।
पीएम इस खुशफहमी में देश को खुश रखना चाहते हैं और खुद भी खुशी के खुदा बने हुए हैं कि सरकार ने तो साजिशकर्ताओं को पकड़ रखा है। अब पीएम ने न जाने किन किनको पकड़ रखा है, उन्हें यह भी याद नहीं होगा और वे प्रत्येक मौके पर आदतन कह देते हैं कि छोड़ेंगे नहीं ... पूरा पढ़ने और प्रतिक्रिया देने के लिए यहां पर क्लिक कीजिएगा कमेंट देना भूल जाएं तो वोट देने में न शर्माएं। वोट देने के लिए पेज तारे भी एनबीटी पर ही मिलेंगे, बस क्लिक ही करना है।