परिजनों के साथ अतुल माहेश्वरी |
अमर उजाला के निदेशक अतुल माहेश्वरी का निधन
अमर उजाला के निदेशक अतुल माहेश्वरी का आज निधन हो गया. उनकी तबीयत खराब होने के बाद उन्हें कुछ दिन पहले गुड़गांव के फोर्टिस अस्पताल में भर्ती कराया गया था. जहां हालत ज्यादा बिगड़ गई. डाक्टरों के अथक प्रयास के बाद भी उन्हें बचाया नहीं जा सका. उनके निधन से पूरे मीडिया जगत में कोहराम मचा हुआ है. किसी को विश्वास नहीं हो रहा है कि अतुल माहेश्वरी अब उनके बीच नहीं रहे.
ताजी सूचना ये है कि अतुल माहेश्वरी का शव नोएडा के सेक्टर 50 स्थित उनके आवास पर लाया गया है. अंतिम दर्शनार्थ और श्रद्धांजलि देने मीडिया से जुड़े काफी लोग वहां पहुंचे हैं. दैनिक जागरण के कई वरिष्ठ लोग अतुल माहेश्वरी के घर पर पहुंच चुके हैं. अमर उजाला के सभी लोग हैं. अन्य कई मीडिया हाउसों के दिग्गज सेक्टर 50 में अतुलजी के आवास पर पहुंच रहे हैं. अंतिम संस्कार आज शाम साढ़े पांच बजे कालिंदी कुंज के करीब नोएडा के सेक्टर 94 स्थित अंतिम निवास श्मशान गृह में किया जाएगा.
जानकारी के अनुसार अतुल माहेश्वरी को एक साल पहले पेट में तकलीफ हुई थी. इन्होंने इसकी जांच फोर्टिस में कराई. कई जांच के बाद डाक्टरों ने पाया कि इनकी आंत में परेशानी हैं. इस बीमारी को दूर करने के लिए डाक्टरों ने पहले तो दवा दी, लेकिन जब इसमें सुधार नहीं दिखा तो अतुल को ऑपरेशन कराने की सलाह दी गई. जांच में डाक्टरों ने पाया कि आंत में तकलीफ है, घाव है. फोर्टिस के डॉक्टरों ने एक साल पहले अतुल के इंटेस्टाइन का ऑपरेशन किया था. ऑपरेशन सफल रहा. कई दिन अस्पताल में डॉक्टरों ने इन्हें अपने सुपरविजन में रखा. पूरी तरह आराम मिलने के बाद इन्हें डिसचार्ज कर दिया गया था. इसके बाद इनकी तकलीफ काफी कम हो गई थी. इधर कुछ दिनों से अतुल की परेशानी फिर बढ़ गई.
दुबारा जांच के बाद डॉक्टरों ने उन्हें अस्पताल में भर्ती होने की सलाह दी. लगभग एह सप्ताह पूर्व अतुल फिर गुडगांव के फोर्टिस में भर्ती हो गए. वहां इनका इलाज चल रहा था. इनका छोटा ऑपरेशन किया गया था. जांच में पाया गया कि आंत का घाव अभी पूरी तरह से सूखा नहीं है. कल उनकी तबीयत अचानक काफी बिगड़ गई. बताया जा रहा है कि इसके बाद वे कोमा में चले गए थे तथा हालत काफी गंभीर हो गई थी. डाक्टरों ने उन्हें बचाने का हरसंभव प्रयास किया, लेकिन सफलता नहीं मिल सकी. दोपहर में उनका निधन हो गया. कहा जा रहा है कि इंटेस्टाइन के अलावा उनके आंत में कैंसर भी फैल गया था. हालांकि अभी यह स्पष्ट नहीं हो पाया है कि उनका निधन आंत के घाव के चलते हुआ अथवा कैंसर से अथवा किसी और वजह से हुआ है.
अतुल माहेश्वरी के निधन का समाचार सुनते ही उनके शुभचिंतकों तथा अमर उजाला परिवार में शोक व्याप्त हो गया है. सहसा कोई विश्वास करने को तैयार नहीं था कि अतुल माहेश्वरी अब उनके बीच नहीं रहे. उनके निधन पर पत्रकार, बुद्धिजीवी, राजनेता सहित काफी लोगों ने दुख जताया है तथा उनके परिवार के प्रति संवेदना व्यक्त की है।
विनम्र श्रद्धांजलि
जवाब देंहटाएंविनम्र श्रद्धांजलि
जवाब देंहटाएंविनम्र भाव भीनी श्रद्धांजलि
जवाब देंहटाएंअतुल जी ने 'अमर उजाला' के माध्यम से देश और समाज में ज्ञान और चेतना का उजाला फैलाने का महत्वपूर्ण कार्य किया. हिन्दी पत्रकारिता में उनके इस योगदान को हमेशा याद रखा जाएगा . अश्रुपूरित विनम्र श्रद्धांजलि .
जवाब देंहटाएंअतुल जी को श्रद्धांजलि अर्पित ..
जवाब देंहटाएंsardhanjli
जवाब देंहटाएंपांच लाख से भी जियादा लोग फायदा उठा चुके हैं
जवाब देंहटाएंप्यारे मालिक के ये दो नाम हैं जो कोई भी इनको सच्चे दिल से 100 बार पढेगा।
मालिक उसको हर परेशानी से छुटकारा देगा और अपना सच्चा रास्ता
दिखा कर रहेगा। वो दो नाम यह हैं।
या हादी
(ऐ सच्चा रास्ता दिखाने वाले)
या रहीम
(ऐ हर परेशानी में दया करने वाले)
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{आप की अमानत आपकी सेवा में}
इस पुस्तक को पढ़ कर
पांच लाख से भी जियादा लोग
फायदा उठा चुके हैं ब्लॉग का पता है aapkiamanat.blogspotcom
Vinamra shraddhanjali.......
जवाब देंहटाएंविनम्र श्रद्धांजलि !
जवाब देंहटाएंबेहद दुखद समाचार ।
जवाब देंहटाएंइस दुःख की घडी में हम शोक संतप्त परिवार के साथ हैं ।
उनसे एक बार मिलना हुआ था। अफसोस हुआ निधन की ख़बर से। श्रद्धांजलि।
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